आईटी रिटर्न से जुड़ी 10 बेहद खास बातें, जो दिलाएंगी मोटी 'रकम'
इनकम टैक्स रिटर्न या आईटीआर दाखिल करने की अंतिम तिथि, 31 जुलाई अब करीब आ गई है। आईटीआर दाखिल करने के दो तरीके हैं- या तो आप परंपरागत तौर पर मिलने वाला फार्म भर कर आयकर ऑफिस में जमा करवाएं या इनकम टैक्स ऑफ इंडिया अथवा कुछ अन्य वेबसाइटों की मदद से ऑनलाइन दाखिल करें। इसके लिए करदाता अभी से तैयारी करें। पूर्व में योजना बना लेने से ऐन मौके पर किसी तरह की मुश्किल से बच जाएंगे।
इनकम टैक्स रिटर्न की इसी अहमियत को समझते हुए हम आपको बताने जा रहे हैं रिटर्न की कॉमन बातें, पेश है एक फोटो फीचर-
इनकम टैक्स रिटर्न की इसी अहमियत को समझते हुए हम आपको बताने जा रहे हैं रिटर्न की कॉमन बातें, पेश है एक फोटो फीचर-
इनकम टैक्स रिटर्न के लिए निवेश तो आपने पूरा कर लिया होगा। अब रिटर्न फॉर्म भरने की तैयारी करनी होगी। कई लोग इनकम टैक्स के नाम से ही भागते हैं। ये सही तरीका नहीं है। रिटर्न हर नौकरीपेशा या कारोबारी शख्स के लिए जरूरी है। इससे बचने के बजाय इसको समझने की कोशिश करनी चाहिए। कुछ हिंदी भाषी लोगों के साथ ये दिक्कत बहुत ज्यादा है। वे टैक्स को झंझट समझते हैं। हकीकत में इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने में कोई मुश्किल नहीं है। जरूरत तो है सिर्फ करदाता को मानसिक तौर पर तैयार होने की है। आप रिटर्न फॉर्म को अभी समझ लें। फिर उसे ठीक से भरकर जमा कराएं।
फॉर्म में सामान्य जानकारी आमदनी का मुख्य जरिया सिर्फ वेतन और बैंक डिपॉजिट हो तो आईटीआर फॉर्म-1 भरें। वेतन के साथ शेयर-म्यूचुअल फंड से इनकम हो। साथ ही अपना घर हो तो आईटीआर फॉर्म-2 भरना होगा। वैसे नया सरल फॉर्म भी आ गया है। इसको भी करदाता भर सकते हैं। सामान्य तौर पर ये माना जा रहा है कि अब सरल भरना ज्यादा आसान रहेगा। बेहतर यही है कि आप सरल फॉर्म भरें। पर जो लोग पुराने फॉर्म को भरना चाह रहे हों, उनको पुराना तरीका ही अपनाना होगा।
पैन का ब्योरा दूसरी जानकारी परमानेंट अकाउंट नंबर (पैन) संबंधी होती है। पैन के बिना आप टैक्स रिटर्न नहीं भर सकते। आयकर विभाग में आवेदन करके आप अपना पैन कार्ड बनवा सकते हैं।
असाइनिंग ऑफीसर का पद इसके बाद असाइनिंग ऑफीसर की डेजिगनेशन भरनी होती है। अगर आप पहली बार रिटर्न भर रहे हैं तो इसकी जानकारी आपको आयकर विभाग से मिलेगी। पुराने लोग इसकी जानकारी बीते साल के रिटर्न फार्म से ले सकते हैं।
सेक्शन का ब्योरा किस सेक्शन के अंतर्गत रिटर्न भरना है इसकी जानकारी के लिए निर्देश जरूर पढ़ लें।
वेतन की डिटेल इनकम टैक्स रिटर्न में सेलरी की जानकारी फार्म 16 के जरिए देनी होती है। फार्म 16 में आपके वेतन का पूरा ब्योरा आपका इंप्लायर देता है। वेतन में बेसिक सेलरी और दूसरे सभी अलाउंस जोड़े जाते हैं।
अपने घर का टैक्स पर असर अगर आप अपने घर में रह रहे हैं तो आपको आईटीआर-2 फार्म भरना होगा। इसमें दो तरह की जानकारी देनी होगी। पहली घर के लोन के संबंध में। दूसरी घर से होने वाली आमदनी के बावत।
घर के लोन का ब्योरा -मान लीजिए आपने घर के लिए 10 फीसदी ब्याज दर पर 20 साल के लिए 20 लाख रुपये का होम लोन लिया। इस पर हर महीने करीब 19,300 रुपये की ईएमआई दे रहे हैं। इसकी साल में कुल ईएमआई बनी 2,31,600 रुपये। इसमें पहले साल ब्याज अमाउंट होगा करीब 1,98,567 रुपये। मगर आप छूट पाएंगे सिर्फ 1,50,000 रुपये पर।
फार्म में एंट्री कैसे करेंगे भ्रिटर्न फार्म में आपको 1,50,000 रुपये के ब्याज की एंट्री करनी होगी। ये ब्योरा बैंक एक सर्टिफिकेट पर देते हैं।
निवेश की कमाई का हिसाब निवेश की आमदनी पर समान टैक्स नहीं लगता है। इसलिए इसकी एंट्री अलग-अलग करनी होती है। शार्ट टर्म इनकम को कुल आमदनी में जोड़कर स्लैब के हिसाब से टैक्स लगाया जाता है। सोना, प्रॉपर्टी या डेट म्यूचुअल फंड से होने वाली आमदनी का ब्योरा अलग से देना होता है।
(साभार)
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